मोक्षदा एकादशी के दिन भगवान श्री हरि विष्णु को प्रसन्न करने के लिए कुछ विशेष उपाय भी किए जाते हैं, जो कि इस प्रकार हैं:
एकादशी के दिन तुलसी का पौधा लगाना बेहद शुभ माना जाता है। ऐसे में मोक्षदा एकादशी के दिन तुलसी का पौधा जरूर लगाएं। तुलसी का पौधा लगाते समय दिशा का जरूर ध्यान रखें। इसकी दिशा पूर्व की तरफ होनी चाहिए।
मोक्षदा एकादशी के दिन स्नान के बाद पीले रंग के कपड़े पहनने चाहिए। इसके अलावा भगवान विष्णु को पीले फूल, वस्त्र, फल आदि पूजा में अर्पित करें। मान्यता है कि भगवान विष्णु को पीला रंग अति प्रिय है।
इस दिन भगवान विष्णु का पंचामृत से अभिषेक करें और तुलसी जरूर अर्पित करें। ऐसा करने से भगवान विष्णु जल्द प्रसन्न होते हैं और अपनी कृपा बनाए रखते हैं।
मोक्षदा एकादशी के दिन पीपल के वृक्ष की जड़ में जल अर्पित करें। ऐसा करने से भगवान विष्णु की विशेष कृपा प्राप्त होती है।
पीली वस्तुओं का दान भी एकादशी के दिन सबसे बेहतर माना जाता है। इससे पुण्य की प्राप्ति होती है।
इस दिन भगवान विष्णु के मंत्रों का जाप करना बेहद शुभ माना जाता है। इससे श्री हरि की कृपा प्राप्त होती है और मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
एकादशी के दिन भगवान विष्णु के साथ माँ लक्ष्मी की भी पूजा करने का विशेष महत्व है।
मोक्षदा एकादशी के दिन भगवान विष्णु की चालीसा पाठ और आरती करके भी प्रभु की कृपा प्राप्त की जा सकती है।
मोक्षदा एकादशी 2022: पौराणिक कथा
हिंदू पौराणिक कथा के अनुसार प्राचीन काल में गोकुल नगर में वैखानस नाम का राजा का राज था। उसके राज्य में चारों वेदों के ज्ञाता अति विद्वान ब्राह्मण लोग रहते थे। वह राजा धर्मनिष्ठ और सदाचारी था। वह अपने प्रजा का पुत्र की तरह ध्यान रखता था। एक बार रात में राजा ने एक सपना देखा कि उनके पिता नर्क में हैं। यह देख राजा को बड़ा आश्चर्य हुआ। राजा सुबह होते ही ब्राह्मणों के पास गए और अपना स्वप्न बताया और उसका कारण पूछा। तब इन विद्वान ब्राह्मणों ने राजा को पर्वत नाम के ऋषि के आश्रम जाकर अपने पिता के उद्धार का उपाय पूछने को कहा।
राजा ऋषि के आश्रम गए और अपने स्वप्न का उपाय पूछा। ऋषि ने कहा आपके पिता को अपने पिछले जन्मों के कर्मों के कारण नरक की प्राप्ति हुई है। तब ऋषि ने राजा से कहा कि आप मोक्षदा एकादशी का व्रत करें। इस एकादशी के व्रत का फल आपके पिता को मिलेगा। ऐसा करने से पिता को नरक से मुक्ति मिल जाएगी और उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होगी।