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मौसमी बुखार और डेंगू में क्या है अंतर? ऐसे करें डेंगू की पहचान

 

मानसून के आते ही जहां एक ओर गर्मी से राहत मिलती है, वहीं दूसरी ओर बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है। इस मौसम में मच्छरों की संख्या बढ़ जाती है, जिससे डेंगू और मौसमी बुखार जैसी बीमारियां आम हो जाती हैं। समस्या यह है कि दोनों के शुरुआती लक्षण—बुखार, थकान, बदन दर्द—काफी हद तक एक जैसे होते हैं, जिससे सही पहचान करना मुश्किल हो सकता है। यही वजह है कि डेंगू जैसे गंभीर संक्रमण को कई बार सामान्य बुखार समझकर नजरअंदाज कर दिया जाता है।

इस लेख में हम डेंगू और मौसमी बुखार के बीच के अंतर, लक्षण, और बचाव के उपायों पर विस्तार से बात करेंगे।

मौसमी बुखार: लक्षण और कारण

मौसमी बुखार आमतौर पर वायरल या बैक्टीरियल संक्रमण के कारण होता है, और इसका असर कुछ ही दिनों में कम हो जाता है।

प्रमुख लक्षण:

हल्का से मध्यम बुखार (100°F - 102°F)

गले में खराश

खांसी और नाक बहना

हल्का बदन दर्द और थकान

कभी-कभी डायरिया

कारण:

मौसमी बदलाव

दूषित पानी या खानपान

वायरल संक्रमण (जैसे फ्लू)

डेंगू बुखार: लक्षण और जोखिम

डेंगू एक एडीज मच्छर के काटने से फैलने वाला वायरल संक्रमण है। यह बीमारी खास तौर पर बरसात में फैलती है और इसकी सही पहचान व समय पर इलाज बेहद जरूरी होता है।

मुख्य लक्षण:

तेज बुखार (104°F तक)

आंखों के पीछे दर्द

तेज सिरदर्द

जोड़ों और मांसपेशियों में तीव्र दर्द (इसे 'ब्रेक बोन फीवर' भी कहा जाता है)

त्वचा पर लाल चकत्ते

अत्यधिक थकावट

गंभीर लक्षण जो डेंगू को मौसमी बुखार से अलग करते हैं:

नाक, मसूड़ों या उल्टी में खून आना

पेट में तेज दर्द

सांस लेने में दिक्कत

प्लेटलेट काउंट का तेजी से गिरना (1,00,000 से नीचे)

डेंगू की पहचान कैसे करें?

डेंगू की पुष्टि के लिए रक्त जांच जरूरी है:

NS1 एंटीजन टेस्ट: शुरुआती दिनों में किया जाता है

CBC (Complete Blood Count): प्लेटलेट काउंट को जानने के लिए

प्लेटलेट काउंट 1 लाख से कम होने पर डेंगू की आशंका अधिक होती है

मौसमी बुखार में ऐसी जांच की जरूरत अक्सर नहीं पड़ती, क्योंकि वह अपने आप ठीक हो जाता है।

उपचार और देखभाल

मौसमी बुखार का इलाज:

आराम करें

तरल पदार्थ लें

हल्का खाना खाएं

जरूरत पर पैरासिटामोल लें

डेंगू का इलाज:

कोई विशेष दवा नहीं होती

अधिक से अधिक पानी, नारियल पानी और ORS लें

प्लेटलेट्स बहुत कम हों तो अस्पताल में भर्ती और IV फ्लूइड की जरूरत पड़ सकती है

एस्पिरिन या ब्रूफेन जैसी दवाएं न लें (खून बहने का खतरा)

बचाव के जरूरी कदम

डेंगू से बचाव के लिए:

मच्छरों से बचें (मच्छरदानी, क्रीम, स्प्रे)

आसपास पानी जमा न होने दें

फुल आस्तीन के कपड़े पहनें

मौसमी बुखार से बचाव के लिए:

साफ पानी पिएं

ताजा और पौष्टिक भोजन लें

इम्यूनिटी मजबूत रखें

कब जाएं डॉक्टर के पास?

यदि बुखार 3 दिन से अधिक रहे

शरीर में लाल चकत्ते, उल्टी या खून दिखाई दे

अत्यधिक कमजोरी महसूस हो

प्लेटलेट काउंट कम हो जाए

नोट: यह लेख स्वास्थ्य विशेषज्ञों की रिपोर्ट और सामान्य चिकित्सा जानकारी पर आधारित है। किसी भी लक्षण के दिखने पर डॉक्टर की सलाह अवश्य लें।