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राजस्थान सरकार वरिष्ठ नागरिकों को कराएगी अटारी बॉर्डर और स्वर्ण मंदिर के दर्शन, अमृतसर व नांदेड़ साहिब की तीर्थयात्रा का कार्यक्रम घोषित
राजस्थान सरकार की सीनियर सिटीजन तीर्थयात्रा योजना-2025 के तहत इस बार श्रद्धालुओं को धार्मिक स्थलों के साथ-साथ ऐतिहासिक और देशभक्ति से प्रेरित स्थलों की भी यात्रा कराई जाएगी। देवस्थान विभाग ने जुलाई और अगस्त माह के लिए विस्तृत यात्रा कार्यक्रम जारी कर दिया है।
राजस्थान सरकार वरिष्ठ नागरिकों को कराएगी अटारी बॉर्डर और स्वर्ण मंदिर के दर्शन, अमृतसर व नांदेड़ साहिब की तीर्थयात्रा का कार्यक्रम घोषित
राजस्थान सरकार की सीनियर सिटीजन तीर्थयात्रा योजना-2025 के तहत इस बार श्रद्धालुओं को धार्मिक स्थलों के साथ-साथ ऐतिहासिक और देशभक्ति से प्रेरित स्थलों की भी यात्रा कराई जाएगी। देवस्थान विभाग ने जुलाई और अगस्त माह के लिए विस्तृत यात्रा कार्यक्रम जारी कर दिया है।
प्रमुख विशेषताएं:
🔸 स्वर्ण मंदिर व अटारी बॉर्डर दर्शन:
इस योजना के तहत श्रद्धालु अमृतसर स्थित श्री हरमंदिर साहिब (स्वर्ण मंदिर) के दर्शन करेंगे और साथ ही अटारी बॉर्डर पर होने वाली भव्य रिट्रीट सेरेमनी का भी अनुभव करेंगे।
🔸 दक्षिण भारत के तीर्थ स्थल:
श्रद्धालुओं को रामेश्वरम जैसे दक्षिण भारत के पवित्र स्थलों की यात्रा कराई जाएगी।
🔸 सिख समुदाय के लिए विशेष तीर्थयात्रा:
पटना साहिब (बिहार) और नांदेड़ साहिब (महाराष्ट्र) की यात्राएं सिख समुदाय के वरिष्ठ नागरिकों के लिए प्रस्तावित की गई हैं। यदि एक ट्रेन में लगभग 800 श्रद्धालु पंजीकृत होते हैं, तो यह यात्रा शीघ्र प्रारंभ की जाएगी।
यात्रा कार्यक्रम:
6 जुलाई 2025:
भारत गौरव पर्यटक ट्रेन उदयपुर से रवाना होगी। यह अजमेर और जयपुर होते हुए कटरा (माता वैष्णो देवी) पहुंचेगी। मार्ग में श्रद्धालु अमृतसर में स्वर्ण मंदिर और अटारी बॉर्डर का दर्शन करेंगे।
27 जून 2025:
एक ट्रेन डूंगरपुर से रामेश्वरम रवाना होगी। इसमें डूंगरपुर से 400 और राणा प्रताप नगर (उदयपुर) से 376 वरिष्ठ नागरिक यात्रा करेंगे। ट्रेन में कुल 800 यात्री (शामिल स्टाफ सहित) होंगे।
14 जुलाई 2025:
एक अन्य ट्रेन अजमेर से रामेश्वरम रवाना होगी, जो भीलवाड़ा होते हुए गुजरेगी।
यात्रियों की संख्या में वृद्धि:
देवस्थान मंत्री जोराराम कुमावत ने बताया कि इस वर्ष योजना को विस्तार दिया गया है।
पहले तक 35,000 वरिष्ठ नागरिकों को योजना का लाभ मिलता था।
अब यह संख्या बढ़ाकर 56,000 कर दी गई है।
इनमें से 50,000 यात्री ट्रेन से
और 6,000 यात्री हवाई मार्ग से तीर्थयात्रा करेंगे।