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सुप्रीम कोर्ट की फटकार: 'आप सरकार के जिम्मेदार मंत्री हैं, ऐसे बयान कैसे दे सकते हैं?' — विजय शाह पर सख्त टिप्पणी

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह से पूछा कि आप किस तरह के बयान दे रहे हैं। शाह ने कर्नल सोफिया कुरैशी को निशाना बनाने वाली टिप्पणी के लिए उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती दी थी। कोर्ट उनकी याचिका पर 16 मई को सुनवाई करेगा।

कर्नल सोफिया कुरैशी को निशाना बनाकर की गई अपनी कथित विवादास्पद टिप्पणी मामले में मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह को करारा झटका लगा है। कोर्ट से गुरुवार को उन्हें कोई राहत नहीं मिली। दरअसल, आपत्तिजनक टिप्पणी के लिए एफआईआर दर्ज करने के हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ विजय शाह ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। याचिका में विजय शाह ने एफआईआर पर रोक लगाने की मांग की थी। 

 

सुप्रीम कोर्ट ने कल यानी 16 मई को कुंवर विजय शाह की याचिका पर सुनवाई करने पर सहमति जताई। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने 14 मई को शाह के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया था। शाह ने भारतीय सेना के ऑपरेशन सिंदूर के बारे में मीडिया को जानकारी देने वाली भारतीय सेना की अधिकारी कर्नल सोफिया कुरैशी के खिलाफ टिप्पणी की थी। सुप्रीम कोर्ट ने कुंवर विजय शाह को फटकार लगाते हुए कहा कि जब देश ऐसी स्थिति से गुजर रहा है, तो संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति को जिम्मेदार होना चाहिए। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि उन्हें पता होना चाहिए कि वह क्या कह रहे हैं।   सुनवाई के दौरान क्या कहा?
मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई और न्यायमूर्ति ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ के समक्ष मामले को तत्काल सुनवाई के लिए पेश किया गया। सीजेआई ने शाह के वकील से कहा, 'आप किस तरह के बयान दे रहे हैं। आप सरकार के एक जिम्मेदार मंत्री हैं।' इस पर वकील ने कहा कि याचिकाकर्ता एफआईआर पर रोक लगाने की मांग कर रहा है। पीठ ने कहा कि याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई होगी।

क्यों विवादों में आए विजय शाह?
विजय शाह उस समय सुर्खियों में आ गए, जब एक वीडियो वायरल हुआ। इसमें उन्हें ऑपरेशन सिंदूर पर मीडिया ब्रीफिंग के दौरान विंग कमांडर व्योमिका सिंह के साथ कर्नल सोफिया कुरैशी के खिलाफ कथित तौर पर आपत्तिजनक टिप्पणी करते हुए दिखाया गया। मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने विजय शाह को कर्नल कुरैशी के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करने और गटर की भाषा का इस्तेमाल करने के लिए फटकार लगाई थी। कोर्ट पुलिस को उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया था।