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गर्मी ने फिर बढ़ाई चिंता: लगातार रिकॉर्ड तोड़ते तापमान से हाल बेहाल

साल 2025 मौसम के लिहाज से बेहद खतरनाक साबित हो रहा है। फरवरी के बाद अब मई ने भी तापमान के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। यूरोपीय जलवायु एजेंसी कोपरनिकस की ताज़ा रिपोर्ट के मुताबिक, मई 2025 अब तक का दुनिया का दूसरा सबसे गर्म मई महीना रहा।

रिपोर्ट में बताया गया है कि बीते 12 महीनों का औसत वैश्विक तापमान, औद्योगिक क्रांति से पहले के औसत तापमान से 1.58 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा है। इससे पहले फरवरी 2025 को तीसरा सबसे गर्म फरवरी घोषित किया गया था, जिसमें तापमान सामान्य से 1.59 डिग्री ज्यादा दर्ज किया गया।

ग्लोबल वॉर्मिंग अब सिर्फ आंकड़ों तक सीमित नहीं है, इसका असर सीधे लोगों की सेहत पर दिखाई दे रहा है। दिल्ली-एनसीआर में 12 मई को पारा 39 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो इस सीजन का एक नया रिकॉर्ड है। मौसम विभाग का कहना है कि इस बार गर्मी कई पुराने रिकॉर्ड्स को पीछे छोड़ सकती है।

गर्मी के इस बढ़ते प्रकोप का सीधा असर स्वास्थ्य पर भी देखने को मिल रहा है। राजधानी दिल्ली के बड़े अस्पतालों में रोजाना 20 से 30 मरीज लू और गर्मी से संबंधित समस्याओं के साथ पहुंच रहे हैं। इनमें तेज बुखार, नाड़ी तेज चलना, सांस लेने में तकलीफ और हार्ट रेट बढ़ने जैसे लक्षण देखने को मिल रहे हैं।

देश के अन्य हिस्सों की बात करें तो अकेले महाराष्ट्र में मार्च से मई के दौरान हीट स्ट्रोक के 70 से अधिक मामले सामने आ चुके हैं, और तीन संभावित मौतों की पुष्टि भी हुई है। कई राज्यों में पारा लगातार 40 डिग्री के ऊपर बना हुआ है, जिससे जनजीवन पर असर पड़ रहा है।

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि बढ़ती गर्मी विशेष रूप से उन लोगों के लिए खतरनाक साबित हो सकती है, जिन्हें पहले से कोई पुरानी बीमारी है। जलवायु परिवर्तन की वजह से अब सभी को सतर्क और सजग रहने की आवश्यकता है।

गर्मी का यह रुख अगर इसी तरह जारी रहा, तो आने वाले दिनों में हालात और भी बिगड़ सकते हैं। [आपके चैनल का नाम] की अपील है कि ज्यादा से ज्यादा पानी पिएं, धूप से बचें और जरूरत पड़ने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।